प्रधान महालेखाकार ( लेखापरीक्षा I), केरल का कार्यालय

प्रधान महालेखाकार ( लेखापरीक्षा I), केरल भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक (सीएजी) के क्षेत्रीय कार्यालयों में से एक प्रधान महालेखाकार ( लेखापरीक्षा I), केरल का कार्यालय के कार्यालय प्रमुख हैं । सर्वोच्च लेखापरीक्षा संस्था (साईं) के अध्यक्ष, सीएजी, अपने अधिकार एवं शक्तियां मुख्यत: भारत के संविधान के अनुच्छेद 149 से 151 से तथा नियंत्रक-महालेखपरीक्षक के (कर्तव्य, शक्तियाँ तथा सेवा-शर्तें) अधिनियम, 1971 से प्राप्त करते हैं ।

प्रधान महालेखाकार को सौंपे गये मुख्य लेखापरीक्षा कार्य हैं:

  • केरल सरकार में 35 सर्वोच्च लेखापरीक्षा इकाईयां, 76 सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रमों/ स्वायत्त निकायों, अभिकरणों तथा संबद्ध कार्यालयों के अन्तर्गत इन सर्वोच्च इकाईयों के अधीन (35 सर्वोच्च लेखापरीक्षा इकाईयां, 3,920 लेखापरीक्षा इकाईयां और 24,279 कार्यान्वयन इकाईयों) की लेखापरीक्षा
  • सीएजी को सौंपे गए तकनीकी दिशा-निर्देश व समर्थन के अधीन स्थानीय स्वशासन संस्थाओं के वित्तीय विवरणों  की अनुपूरक लेखापरीक्षा
  • विश्व बैंक और अन्य बाहय अभिकरणों द्वारा सहायता प्राप्त योजनाओं,जिसके लिए प्रधान महालेखाकार का प्रमाणन आवश्यक है, की लेखापरीक्षा
  • केरल सरकार से संबंधित भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक की रिपोर्टें तैयार करना, जैसेकि:
    • विषय अधारित एकल रिपोर्टें
    • कलस्टर/विभाग अधारित रिपोर्टें
  • लेखापरीक्षा रिपोर्ट की जाँच के दौरान राज्य विधानमंडल समिति को सहायता प्रदान करना

प्रधान महालेखाकार निम्नलिखित के लिए भी उत्तरदायी हैं :

  • अपने कार्यालय के प्रशासकीय कार्य
  • केरल में प्रधान महालेखाकार कार्यालय के संपदा का प्रबंधन, और
  • अपने कार्यालय के स्टाफ सदस्यों की कल्याण गतिविधियां ।
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