लेखापरीक्षा रिपोर्ट
Himachal Pradesh
भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक का 74वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1992 के कार्यान्वयन की दक्षता पर प्रतिवेदन
अवलोकन
निष्पादन लेखापरीक्षा का समग्र उद्देश्य यह सुनिश्चित करना था कि क्या शहरी स्थानीय निकायों को वास्तव में स्थानीय स्वशासन के प्रभावी संस्थानों के रूप में स्वयं को स्थापित करने के लिए निधियों, कार्यों एवं पदाधिकारियों के संदर्भ में सशक्त किया गया है, और क्या 74वें संविधान संशोधन अधिनियम को राज्य में प्रभावी ढंग से लागू किया गया है। निष्पादन लेखापरीक्षा के मुख्य उद्देश्य थे राज्य विधान में 74वें संविधान संशोधन अधिनियम के प्रावधानों को सम्मिलित करने में पर्याप्तता का आकलन करना; क्या राज्य के शहरी स्थानीय निकायों को उचित रूप से डिजाइन किए गए संस्थानों/ संस्थागत तंत्रों के सृजन तथा राज्य सरकार द्वारा कार्यों के अधिकतम हस्तांतरण के माध्यम से उनके कार्यों का प्रभावी ढंग से निर्वहन करने के लिए अधिकृत थे; तथा क्या शहरी स्थानीय निकायों को उन्हें सौंपे गए कार्यों के निर्वहन हेतु पर्याप्त वित्तीय संसाधनों एवं मानव संसाधनों का आकलन करने का अधिकार दिया गया है।
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भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक का 74वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1992 के कार्यान्वयन की दक्षता पर प्रतिवेदन (2.04 एमबी) डाउनलोड
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परिचय (0.10 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-II लेखापरीक्षा ढांचा (0.08 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-III 74वें संविधान संशोधन अधिनियम के प्रावधानों का अनुपालन (0.09 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-IV शहरी स्थानीय निकायों का सशक्तिकरण एवं कार्यों का हस्तांतरण (0.31 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-V शहरी स्थानीय निकायों के वित्तीय संसाधन (0.46 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-VI शहरी स्थानीय निकायों के मानव संसाधन (0.23 एमबी) डाउनलोड
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अध्याय-VII निष्कर्ष (0.10 एमबी) डाउनलोड
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परिशिष्ट (0.38 एमबी) डाउनलोड